@ शशांक अग्रवाल
जावद :: प्रतिवर्षानुसार इस वर्ष भी लगभग 375 वर्ष पुराना प्राचिन मंदिर नगर के हद्धय स्थल लक्ष्मीनाथ चौक स्थित लक्ष्मीनाथ मंदिर पर आज 29 अप्रेल वार रविवार को शाम के समय के उपरांत गोधुली बैला पर भगवान नृसिंह खंभ मे प्रकट होकर प्राकटयोत्सव धूमधाम से मनाया जायेगा।
**दैत्यराज हिरण्यकश्यप के वध के लिए भगवान नृसिंह के अवतार और गर्जना से तीनों लोक कांप उठे थे। तब भक्त प्रहलाद के सामने आने पर उनका क्रोध शांत हुआ। ऐसे भक्तों के आराध्य भगवान नृसिंह भगवान की जयंती आज नगर में मनाई जाएगी।
भक्त प्रहलाद को बचाने के लिए भगवान नृसिंह खंभ फाड़कर प्रकट होने की लीला का मंचन किया जाएगा
आज प्रात: मंदिर पर भगवान का अभिषेक किया जाएगा इस अवसर पर भगवान नृसिंह अपने भक्तों को *शाम सुर्यास्त से पहले गोधुली वेला* के समय भगवान नृसिंह खंभ फाड़कर प्रकट होंगे।
इसके बाद भगवान मंदिर पर श्रद्धालु भगवान की पूजा-अर्चना तथा आरती पश्चात प्रसादी बांटी जाएगी।
ज्ञात रहे की राक्षस हिरणाकश्यप को वरदान था तुझे ना जानवर , ना इंसान , ना ही धरती पर ना ही आकाश मे , ना उपर ना निचे , ना अंदर ना बाहर , ना दाए ना बाए कोई नही मार सकता इस वरदान को लेकर भगवान नृसिंह प्रकट हुए थे।
फिर अपने नाकुन से राक्षक हिरणाकश्यप को फाडकर वध किया था उसी दिन से नृसिंह प्रकटोत्सव मनाया जा रहा हे
समस्त जानकारी नारायण सोमानी नेदी।
जावद :: प्रतिवर्षानुसार इस वर्ष भी लगभग 375 वर्ष पुराना प्राचिन मंदिर नगर के हद्धय स्थल लक्ष्मीनाथ चौक स्थित लक्ष्मीनाथ मंदिर पर आज 29 अप्रेल वार रविवार को शाम के समय के उपरांत गोधुली बैला पर भगवान नृसिंह खंभ मे प्रकट होकर प्राकटयोत्सव धूमधाम से मनाया जायेगा।
**दैत्यराज हिरण्यकश्यप के वध के लिए भगवान नृसिंह के अवतार और गर्जना से तीनों लोक कांप उठे थे। तब भक्त प्रहलाद के सामने आने पर उनका क्रोध शांत हुआ। ऐसे भक्तों के आराध्य भगवान नृसिंह भगवान की जयंती आज नगर में मनाई जाएगी।
भक्त प्रहलाद को बचाने के लिए भगवान नृसिंह खंभ फाड़कर प्रकट होने की लीला का मंचन किया जाएगा
आज प्रात: मंदिर पर भगवान का अभिषेक किया जाएगा इस अवसर पर भगवान नृसिंह अपने भक्तों को *शाम सुर्यास्त से पहले गोधुली वेला* के समय भगवान नृसिंह खंभ फाड़कर प्रकट होंगे।
इसके बाद भगवान मंदिर पर श्रद्धालु भगवान की पूजा-अर्चना तथा आरती पश्चात प्रसादी बांटी जाएगी।
ज्ञात रहे की राक्षस हिरणाकश्यप को वरदान था तुझे ना जानवर , ना इंसान , ना ही धरती पर ना ही आकाश मे , ना उपर ना निचे , ना अंदर ना बाहर , ना दाए ना बाए कोई नही मार सकता इस वरदान को लेकर भगवान नृसिंह प्रकट हुए थे।
फिर अपने नाकुन से राक्षक हिरणाकश्यप को फाडकर वध किया था उसी दिन से नृसिंह प्रकटोत्सव मनाया जा रहा हे
समस्त जानकारी नारायण सोमानी नेदी।
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